पंचायत चुनाव: 15 प्रधान और क्षेत्र पंचायत सदस्य जीत तो गए लेकिन जमानत हुई जब्त, जानिए क्यों?



कासगंज के त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में 15 प्रधान व 12 क्षेत्र पंचायत सदस्य ऐसे हैं जो जीतने के बाद भी अपनी जमानत नहीं बचा सके। इन प्रत्याशियों को जमानत बचाने के लिए जरूरी 20 प्रतिशत से भी कम वोट मिले हैं।

पंचायत चुनाव में प्रत्याशी को अपनी जमानत बचाने के लिए 20 प्रतिशत वोट की आवश्यकता होती है। कासगंज विकास क्षेत्र की प्रधान प्रत्याशी शारदा देवी ने सबसे अधिक 69.86 प्रतिशत वोट और होडलपुर के क्षेत्र पंचायत सदस्य प्रत्याशी मुनेश ने सबसे अधिक 74.16 प्रतिशत वोट पाकर जीत हासिल की। कई अन्य प्रत्याशी ऐसे हैं जिन्होंने 60 प्रतिशत से अधिक वोट पाकर चुनाव जीते हैं। 

इन सबके बीच प्रधान पद के प्रत्याशियों में पटियाली के सिकंदरपुर मनैना के देवेंद्र ने 14.97, दयौरेया की सुनीता ने 18.76, गंजडुंडवारा के कादरगंज खाम के हरीशंकर ने 17.23, देवकली के राजेश ने 18.45, म्यासुर के अरविंद ने 17.07, सिढ़पुरा के अखतऊ मगदपुर के दिनेश 17.83, कासगंज के सलेमपुर पिरौंदा के एमेश 15.48, तिलसई कला की त्रिवेणी ने 17.01, बांकनेर की नेमश्री 19.38, सोरों के बसुपुरा की विनीता 18.07, अमांपुर के कोंढरा के आराम सिंह 19.11, नादरमई के सुगंध सिंह 17.28, सुजरई की बेबी कुमारी 18.39, सहावर के जमालपुर की सरोज कुमारी 17.92, बढ़ारी कला की रेखा 16.37 प्रतिशत वोट पाकर चुनाव जीत गईं। 

इसी तरह क्षेत्र पंचायत सदस्य में गंज की असमीना 18.33, प्रेमवीर 19.29, सिढ़पुरा के देवेश 18.46, ढोलना की मंजू 12.08, जखेरा के राकेश ने 19.07, नदरई के अभिषेक 18.2, तवालपुर मौसमपुर की नीलम 19.72, सोरों के घिनौना के रामचंद 18.45, अमांपुर के कछेला शेरपुर के सत्ययभान 19.63, भृगवासिनी के 19.19, वरसौड़ा के चंद्रपाल 19.3 एवं नरई की डौली 17.26 प्रतिशत वोट पाकर चुनाव जीत गई, लेकिन 20 प्रतिशत से कम वोट पाने वाले इन प्रत्याशियों की जमानत नहीं बच सकी।

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